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मंकीपॉक्स का खतरा भारत में! ⚠️ केरल में मिला नया मामला, सावधान रहें!

मंकीपॉक्स का खतरा भारत में फिलहाल देखने को मिला केरल में 30 वर्षीय यूएई से लौटे व्यक्ति में क्लेड-1 स्ट्रेन की पुष्टि हुई है। डब्ल्यूएचओ पहले ही इस वायरस को वैश्विक स्वास्थ्य आपातकाल घोषित कर चुका है। दिल्ली में पहले ही क्लेड-2 स्ट्रेन का मामला सामने आ चुका है, जिससे चिंता बढ़ गई है

अफ्रीका से भारत पहुंचा मंकीपॉक्स का खतरा! केरल में 30 वर्षीय यूएई से लौटे व्यक्ति में क्लेड-1 स्ट्रेन की पुष्टि हुई है। डब्ल्यूएचओ पहले ही इस वायरस को वैश्विक स्वास्थ्य आपातकाल घोषित कर चुका है। दिल्ली में पहले ही क्लेड-2 स्ट्रेन का मामला सामने आ चुका है, जिससे चिंता बढ़ गई है।

केरल के मल्लपुरम में मिला मरीज

केरल के मल्लापुरम में मंकीपॉक्स का पहला मामला सामने आने से देश में दहशत फैल गई है। यह वह ही खतरनाक स्ट्रेन है जिसने अफ्रीका को हिलाकर रख दिया था। डब्ल्यूएचओ ने इसे वैश्विक स्वास्थ्य आपातकाल घोषित किया है।”

स्वास्थ्य विभाग ने की पुष्टि

स्वास्थ्य मंत्रालय ने पुष्टि की है कि केरल के मल्लापुरम में मिला मंकीपॉक्स का मामला क्लेड-1 स्ट्रेन का है। मंत्रालय की प्रवक्ता मनीषा वर्मा के अनुसार, यह वह ही खतरनाक स्ट्रेन है जिसने अफ्रीका में तबाही मचाई थी।

दिल्ली में मिला था क्लेड 2 स्ट्रेन का मरीज

इससे पहले दिल्ली में सामने आया मंकीपॉक्स का मामला पश्चिमी अफ्रीकी क्लेड 2 स्ट्रेन का था। हरियाणा के हिसार के 26 वर्षीय व्यक्ति में इस महीने की शुरुआत में इस स्ट्रेन की पुष्टि हुई थी। 2022 में WHO द्वारा मंकीपॉक्स को अंतरराष्ट्रीय चिंता का सार्वजनिक स्वास्थ्य आपातकाल घोषित किए जाने के बाद से भारत में अब तक 30 मामले दर्ज किए गए हैं।

मध्य अफ्रीका में मंकीपॉक्स क्लेड 1b पाया जाता है और गंभीर बीमारी का कारण बन सकता है। डब्ल्यूएचओ ने इस साल अब तक अफ्रीका में मंकीपॉक्स के 30,000 से अधिक संदिग्ध मामले बताए हैं, जिनमें से अधिकांश कांगो लोकतांत्रिक गणराज्य में हैं, जहां परीक्षणों को रोक दिया गया है। यूएन की हेल्थ एजेंसी ने एक रिपोर्ट में कहा कि मंकीपॉक्स ने इस दौरान महाद्वीप में 800 से अधिक लोगों की जान ले दी है।

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